भाषा विवाद में 51 वर्षीय बस कंडक्टर की पिटाई,मराठी और कन्नड़ भाषियों के बीच विवाद

कन्नड़ Vs मराठी भाषा का विवाद बीते 6 दशक से चल रहा है।इसी में हिंदी भी शामिल है। मराठी भाषियों की मांग है कि कन्नड़ के साथ हिंदी और मराठी में काम होना चाहिए। इस भाषा विवाद में एक बस कंडक्टर की कुछ लोगो ने पिटाई कर दी है। 21 फरवरी, 2025 को कर्नाटक के 51 साल के बस कंडक्टर महादेव हुक्केरी की पिटाई से ये विवाद अब आग दे दी है। कर्नाटक ने महाराष्ट्र बॉर्डर में बसें भेजना बंद कर दिया। जवाब में महाराष्ट्र ने अपनी बसें रोक दीं। दोनों तरफ ड्राइवरों पर हमले किए गए। ये सब करीब एक हफ्ते चला।
पूरा मामला कुछ इस प्रकर है
महादेव हुक्केरी कर्नाटक स्टेट ट्रांसपोर्ट की बस में कंडक्टर हैं। 21 फरवरी की दोपहर वे रोज की तरह टिकट काट रहे थे। बस बेलगावी से महाराष्ट्र के सुलमान के लिए निकली ही थी। आगे की कहानी महादेव सुनाते हैं, ‘बस में ज्यादातर महिलाएं बैठी थीं। एक सीट पर एक लड़का और एक लड़की बैठे थे। कर्नाटक में महिलाओं का बस में आना-जाना फ्री है। लड़की ने फ्री में दो टिकट मांगे। मैंने कहा कि मेल पेसेंजर के लिए बस टिकट फ्री नहीं है।’
‘दोनों ने मुझसे मराठी में बात करने के लए कहा। मैंने जवाब दिया कि मुझे मराठी नहीं आती, इसलिए कन्नड़ में बात करो। थोड़ी देर में चिक्का बालेकुंदरी गांव के पास बस रुकी। यहां 6-7 लोग बस में घुस गए और मुझे पीटने लगे। नीचे भी करीब 50 लोग खड़े थे। मुझे सिर और पैरों पर मारा।’
बस कंडक्टर की पिटाई के आरोप में पुलिस ने 5 लड़कों को हिरासत में लिया। वहीं बस में बैठी लड़की ने कंडक्टर के खिलाफ सेक्शुअल हैरेसमेंट की शिकायत दर्ज करवाई। लड़की नाबालिग है, इसलिए पॉक्सो एक्ट के तहत केस दर्ज किया गया।
इस घटना के विरोध में 22 मार्च को कर्नाटक बंद बुलाया गया है। ये बंद कन्नड़ चलावली वातल पक्ष के फाउंडर और पूर्व विधायक वातल नागराज ने बुलाया है।