यमुना जहरीली हो रही इस याचिका पर हाईकोर्ट ने कहा: स्थिति गंभीर और निराशाजनक है

यमुना जहरीली हो रही इस याचिका पर हाईकोर्ट ने कहा: स्थिति गंभीर और निराशाजनक है

दिल्ली की यमुना नदी जहरीली हो रही है. इस याचिका पर दिल्ली हाई कोर्ट ने सुनवाई की.कोर्ट ने कहा कि दिल्ली के 16 औद्योगिक क्षेत्रों में CITP नहीं है. बिना किसी उपचार के वेस्ट मटेरियल इन 16 स्थानों में बह रहा है. दिल्ली हाईकोर्ट ने 37 घरेलू और रिहायशी इलाकों के सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट की शर्तों पर भी चर्चा की. कोर्ट ने इसे ‘गंभीर और निराशाजनक’ स्थिति बताया
हाई कोर्ट ने कहा कि ऐसे 11 प्लांट में फ्लो मीटर लगाने में की गई देरी असंतोषजनक स्थिति को दिखाती है. दिल्ली हाई कोर्ट ने मामले की सुनवाई के दौरान यह भी पूछा कि इसका समाधान कैसे निकाला जाए जिससे नदी में बहने वाला सारा पानी पूरी तरह से ट्रीट हो जाए और प्रदूषण न हो.
जस्टिस प्रतिभा एम. सिंह और जस्टिस मनमीत पीएस अरोड़ा की बेंच ने कहा कि इस स्थिति में दिल्ली के सभी 33 औद्योगिक इलाकों में कॉमन एफ्लुएंट ट्रीटमेंट प्लांट लगाने की तत्काल जरूरत है.
कोर्ट ने  सुनवाई के दौरान देश की सबसे बड़ी अदालत, सुप्रीम कोर्ट, के एक आदेश का भी हवाला दिया, जो CITP को सभी औद्योगिक क्षेत्रों में लगाने का महत्वपूर्ण आदेश देता है. मामले की सुनवाई के दौरान दिल्ली हाई कोर्ट ने कहा कि कॉमन एफ्लुएंट ट्रीटमेंट प्लांट के कामकाज पर दिल्ली राज्य औद्योगिक और बुनियादी ढांचा विकास निगम (DSIIDC) द्वारा प्रस्तुत हलफनामा बहुत निराशाजनक था.