भोपाल : साइबर ठगी मामले में 4 पुलिशकर्मी सस्पेंड , थाना प्रभारी के खिलाफ मामला दर्ज

भोपाल : साइबर ठगी मामले में 4 पुलिशकर्मी सस्पेंड , थाना प्रभारी के खिलाफ मामला दर्ज

राजधानी भोपाल में साइबर ठगी के कॉल सेंटर मामले में लापरवाही और साठगांठ के आरोप में ऐशबाग थाना प्रभारी (TI) जितेंद्र गढ़वाल समेत 4 पुलिसकर्मियों को सस्पेंड कर दिया गया है। वहीं थाना प्रभारी जितेंद्र गढ़वाल के खिलाफ अब मामला भी दर्ज हो गया है। एएसआई पवन रघुवंशी, हेड कांस्टेबल धर्मेंद्र सिंह और रिश्वत देते हुए पकड़ाया अंशुल जैन के खिलाफ भी मामला दर्ज किया गया है। जिस थाने में ये भ्रष्ट पुलिसकर्मी पदस्थ थे, उसी थाने में मामला दर्ज हुआ है। 

दरअसल, ये मामला हाल ही में भोपाल में पकड़ाए ठगी के एक कॉल सेंटर से जुड़ा है। बताया जा रहा है कि इस मामले के आरोपियों में से एक आरोपी मुइन खान को बचाने के एवज में एएसआई ने उससे 25 लाख रुपए में डील की थी। उसी डील की पहली किस्त के रूप में एएसआई 5 लाख रुपए ले रहा था। तभी क्राइम ब्रांच और जोन-1 की एडिशनल डीसीपी रश्मि मिश्रा समेत उनकी टीम ने एएसआई को रंगेहाथ धर दबोचा।

बता दें , रिश्वत के इस मामले में टीआई जितेंद्र गढ़वाल के खिलाफ भी भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत केस दर्ज किया गया है। वहीं  जिस ऐशबाग थाने में जितेंद्र गढ़वाल बतौर टीआई पदस्थ थे, उसी थाने में उन पर एफआईआर दर्ज हुई है। उनके साथ पवन रघुवंशी, प्रधान आरक्षक धर्मेंद्र और टीकमगढ़ से रिश्वत देने वाले अंशुल उर्फ मोना जैन को आरोपी बनाया गया है। पुलिस की एक टीम टीकमगढ़ भी पहुंच चुकी है। टीआई गढ़वाल की भूमिका यह बताई जा रही है कि उनकी जानकारी में रिश्वत का ये पूरा घटनाक्रम हुआ।

बता दें कि भोपाल में पहली बार पुलिस ने किसी पुलिसकर्मी को ट्रेस किया। उसके खिलाफ भ्रष्टाचार अधिनियम की एफआईआर दर्ज की है। मामले में टीआई जितेंद्र गढ़वाल की भूमिका की जांच जारी है। जिसके बाद उसे भी आरोपी बनाया सकता है। 

दरअसल, राजधानी भोपाल के प्रभात चौराहे पर एक बिल्डिंग में एक कॉल सेंटर संचालित हो रहा था। यहां से देश भर के लोगों को ठगने का काम किया जा रहा था। इस मामले में 23 फरवरी को पुलिस ने दबिश देकर संचालक अफजल खान के बेटे को गिरफ्तार करके छोड़ दिया था। वहीं पुलिस आरोपी से पूछताछ कर रही है।